लखनऊ (K5 News)। उत्तर प्रदेश में राज्यसभा की दस सीटों के लिए कल होने वाले मतदान की उलटी गिनती शुरू होने से पहले ही उठा-पटक शुरू हो गई है। चुनाव में क्रॉस वोटिंग के डर बहुजन समाज पार्टी ने उनको समर्थन देने वाली समाजवादी पार्टी से नौ विधायकों की सूची मांग ली है। बसपा प्रमुख मायावती आज शाम को अपनी पार्टी के विधायकों के साथ लखनऊ में बैठक करेंगी। इससे पहले उन्होंने समाजवादी पार्टी से उनके नौ विधायकों के नाम वाली सूची मांगी है। प्रदेश में राज्यसभा की दस सीटों पर चुनाव में अब चौबीस घंटे से भी कम का समय रह गया है। भाजपा के आठ सदस्यों तथा समाजवादी पार्टी की जया बच्चन का राज्यसभा जाना तय है। इसी के बीच में भाजपा ने अपने अतिक्ति वोट के सहारे नौवें प्रत्याशी को राज्यसभा भेजने की कवायद शुरू कर दी है। भाजपा के बचे वोट के साथ इनको नरेश अग्रवाल के बेटे नितिन अग्रवाल तथा निषाद पार्टी के विधायक विजय मिश्रा का समर्थन मिल गया है। बहुजन समाज पार्टी को अपने प्रत्याशी भीमराव अंबेडकर को राज्यसभा भेजने में क्रास वोटिंग का डर सता रहा है। इसको लेकर सपा अपने अतिरिक्त के साथ ही कांग्रेस व रालोद के एक के साथ तीन निदर्लीय विधायक का वोट सहेजने में लगी है। इसके बाद भी अब बसपा सुप्रीमो मायावती कोई भी रिस्क लेना नहीं चाहतीं। उन्होंने समाजवादी पार्टी के सामने शर्त रख दी है। मायावती ने राज्यसभा चुनावों में विधायकों के क्रॉस वोटिंग करने के डर के चलते अपने प्रत्याशी के लिए सपा से नौ विश्वस्त विधायकों की सूची मांग ली है। बसपा की ओर से कहा गया है कि उसके प्रत्याशी को सपा का प्रथम वरीयता वोट मिले। बसपा सुप्रीमो का संदेश सपा अध्यक्ष तक पहुंचा दिया गया। जिसके बाद खबर है कि सपा ने नौ निष्ठावान अपने विधायकों के नाम बसपा को भेज भी दिए हैं। उधर सपा विधायकों के बसपा प्रत्याशी को प्रथम वरीयता देने की सूरत में समाजवादी पार्टी की घोषित प्रत्याशी जया बच्चन की मुश्किलें बढ़ सकती है। सपा के सूत्रों के अनुसार पार्टी नहीं चाहेगी कि किसी सूरत में जया बच्चन को दूसरी वरीयता में रखा जाए। ऐसा हुआ तो जो स्थिति इस समय बसपा के भीमराव अंबेडकर की है, वह जया बच्चन की हो जाएगी। 
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